NCERT Solutions Class 2 रिमझिम Chapter-13 (सूरज जल्दी आना जी)

NCERT Solutions Class 2 रिमझिम Chapter-13 (सूरज जल्दी आना जी)

NCERT Solutions Class 2 रिमझिम 2 वीं कक्षा से Chapter-13 (सूरज जल्दी आना जी) के उत्तर मिलेंगे। यह अध्याय आपको मूल बातें सीखने में मदद करेगा और आपको इस अध्याय से अपनी परीक्षा में कम से कम एक प्रश्न की उम्मीद करनी चाहिए। हमने NCERT बोर्ड की टेक्सटबुक्स हिंदी रिमझिम के सभी Questions के जवाब बड़ी ही आसान भाषा में दिए हैं जिनको समझना और याद करना Students के लिए बहुत आसान रहेगा जिस से आप अपनी परीक्षा में अच्छे नंबर से पास हो सके।
Solutions Class 2 रिमझिम Chapter-13 (सूरज जल्दी आना जी)
एनसीईआरटी प्रश्न-उत्तर

Class 2 रिमझिम

Chapter-13 (सूरज जल्दी आना जी)

अभ्यास के अन्तर्गत दिए गए प्रश्नोत्तर

Chapter-13 (सूरज जल्दी आना जी)

कविता का सारांश

प्रस्तुत कविता ‘सूरज जल्दी आना जी’ के कवि रमेश तैलंग हैं। इस कविता में बच्चे सूरज से जल्दी निकलने का आग्रह कर रहे हैं। बच्चे कह रहे हैं कि चारों तरफ़ कुहासा (कोहरा) फैला है तथा आर-पार कुछ भी दिखाई नहीं पड़ रहा। क्या ऐसे कोई किसी के घर टिकता है? बच्चे सूरज से सच-सच बताने के लिए कह रहे हैं। कल की बारिश में जो कपड़े भीग गए थे, वे अब तक गीले हैं। दीवार तथा दरवाजे सब-के-सबै सीले हैं। बच्चे सूरज से कह रहे हैं कि बहाना छोड़कर जल्दी आ जाओ।

काव्यांशों की व्याख्या

1. एक कटोरी, भर कर गोरी
धूप हमें भी लाना जी।
सूरज जल्दी आना जी।

जमकर बैठा यहाँ कुहासा
आर-पार न दिखता है।
ऐसे भी क्या कभी किसी के
घर में कोई टिकता है?
सच-सच जरा बेताना जी।
सूरज जल्दी आना जी।

शब्दार्थ: कुहासा-कोहरा। टिकना-ठहरना।।
प्रसंग – प्रस्तुत पंक्तियाँ हमारी पाठ्यपुस्तक रिमझिम, भाग-2 में संकलित कविता ‘सूरज जल्दी आनी जी’ से ली गई हैं। इस कविता के कवि रमेश तैलंग हैं। इसमें कवि बच्चों के माध्यम से सूरज को जल्दी निकलने के लिए कह रहा है।

व्याख्या – बच्चे सूरज से जल्दी निकलने को कह रहे हैं। बच्चे कह रहे हैं कि यहाँ चारों तरफ़ कुहासा फैला है और आर-पार कुछ भी दिखाई नहीं पड़ रहा है। ऐसे में क्या कोई किसी के घर में टिकता है। बच्चे सूरज से इस बारे में सच-सच बताने तथा जल्दी आने को कह रहे हैं।

2. कल की बारिश में जो भीगे।
कपड़े अब तक गीले हैं।
क्या दीवारें, क्या दरवाजे
सब-के-सब ही सीले हैं।
छोड़ो आज बहाना जी।
ना-ना ना-ना ना-ना जी।
सूरज जल्दी आना जी।।

शब्दार्थ: बारिश-वर्षा। सीला-गीला, तर।
प्रसंग – पूर्ववत।
व्याख्या – बच्चे सूरज से कह रहे हैं कि कल की बारिश में जो कपड़े भीग गए थे, वे अब तक गीले हैं। दरवाजे और दीवारें भी गीली हो गई हैं। बच्चे सूरज से कह रहे हैं कि बहाना बनाना छोड़कर जल्दी से आ जाओ।

प्रश्न-अभ्यास

रंगों की बात

प्रश्न 1
कविता में धूप का रंग गोरा बताया गया है। तुम्हें धूप का रंग कैसा लगता है?

उत्तर:
उजला।

धूप कब नहीं सुहाती

प्रश्न 2
कौन-से मौसम में धूप बिल्कुल नहीं सुहाती?

उत्तर:
गरमियों के मौसम में धूप बिल्कुल नहीं सुहाती।

प्रश्न 3
तब तुम धूप से बचने के लिए क्या-क्या करते हो?

उत्तर:

  • छाता लेकर जाते हैं।
  • हल्के कपड़े पहनते हैं।
  • “कोई सनस्क्रीन क्रीम लगाते हैं।
  • “चेहरे को कपड़े से ढक लेते हैं।
  • ठंडा पानी और कोल्डड्रिंक पीते हैं।

शब्दों का मेल

प्रश्न 4
नीचे दिए गए शब्दों के आगे चार-चार शब्द लिखे हैं। इन चारों में से एक-एक शब्द अलग है। बताओ कि अलग शब्द कौन-सा है? वह शब्द बाकी सबसे अलग क्यों है?

उत्तर:
बारिश                 –           पानी, गीला, बादल, पटना। (पानी, गीला, बादल शब्द एक ही वर्ग के हैं, जबकि पटना शहर का नाम है।)
घर                      –          दरवाजा, खिड़की, साबुन, दीवार। (दरवाजा, खिड़की तथा दीवार एक ही वर्ग के शब्द हैं, जबकि साबुन एक भिन्न शब्द है।)
सूरज                   –            धरती, धूप, पसीना, गरमी। (धूप, पसीना, गरमी एक ही वर्ग के शब्द हैं, जबकि धरती एक अलग शब्द है।)
कटोरी                 –           कड़ाही, तश्तरी, चूल्हा, गिलास। (कड़ाही, तश्तरी तथा गिलास एक ही वर्ग के शब्द हैं जबकि चूल्हा शब्द इससे भिन्न है।)

अगर ऐसा हो

प्रश्न 5
अगर धूप न हो तो क्या होता?

उत्तर:
यदि धूप नहीं उगती तो पृथ्वी पर जीवन बड़ा ही मुश्किल हो जाता प्रकाश के अभाव में “पेड़-पौधे मुरझा जाते। शरीर को ऊर्जा नहीं मिल पाती तथा जन-जीवन अस्त-व्यस्त हो जाता।

प्रश्न 6
अगर हवा न हो तो क्या होगा?

उत्तर:
अगर हवा न हो तो हम साँस नहीं ले पाएँगे। हवा के अभाव में मनुष्य, जीव-जंतु, पशु-पक्षी सबमर जाएँगे।

प्रश्न 7
अगर पानी न हो तो क्या होगा?

उत्तर:
पानी जीवन के लिए आवश्यक है। इसके बिना जीवन की कल्पना तक नहीं की जा सकती।

प्रश्न 8
अगर पेड़-पौधे न हों तो क्या होगा?

उत्तर:
पेड़-पौधे हमें ऑक्सीजन प्रदान करते हैं। पेड़-पौधों से ही बारिश होती है। पेड़-पौधे जीवन “का आधार हैं। इनके बिना जीवन काफी मुश्किल हो जाएगा।

कौन-सा बहाना

प्रश्न 9
सूरज का अभी आने का मन नहीं है। वह बच्चों को क्या बहाने बनाकर मना करेगा?

उत्तर:
आज़ मेरी तबीयत ठीक नहीं है। आज मैं नहीं आ पाऊँगा।
आज मैं अपने दोस्तों के साथ खेल रहा हूँ। आज मैं नहीं आ पाऊँगा।

कुहासा

प्रश्न 10
कुहासे का मतलब है-कोहरा या धुंध। कोहरा किस मौसम में छा जाता है?

उत्तर:
कोहरा सरदियों में छा जाता है।

सूख जा भई सूख जा

प्रश्न 11
मान लो कल स्कूल से घर आते हुए तुम तेज़ बारिश में भीग गईं। तुम इन्हें कहाँ सुखाओगी? तुम्हारी ये चीजें कितने समय में सूखेंगी?

उत्तर:मैं इन सभी चीजों को धूप में सुखाऊँगी। इन सबके सूखने में अलग-अलग समय लगेगा।

  • कमीज़ – एक से दो घंटे
  • बस्ता – पाँच से छह घंटे
  • जूते – तीन से चार घंटे

फ़र्क पहचानो

प्रश्न 12
फ़ीता-फीका

फ़ीता और फीका दोनों शब्दों में अंतर है न! इन्हें बोला भी अलग-अलग तरह से जाता है। पहले में बिंदी लगी है जबकि दूसरे फी में बिंदी नहीं है। नीचे ऐसे कुछ और शब्द दिए गए हैं। उन्हें बोल कर और सुनकर अंतर समझो। दोनों तरफ का एक-एक शब्द खुद भी जोड़ो।

उत्तर:
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